आपने शायद कुछ प्रभावशाली लोगों या मशहूर हस्तियों द्वारा वीर्य के त्वचा और चेहरे पर लगाने के लाभों के बारे में तो सुना होगा। लेकिन किसी की व्यक्तिगत राय इसके फायदे साबित करने के लिए पर्याप्त नहीं है।
वास्तव में, आपकी त्वचा पर वीर्य लगाने के फायदों का समर्थन करने के लिए कोई वैज्ञानिक प्रमाण मौजूद ही नहीं है।
यह आपके चेहरे को गोरा, चमकदार और दाग-धब्बों से रहित करे या न करे, लेकिन इसके परिणाम एलर्जी और यौन संचारित संक्रमण फैलने का खतरा जरूर होता है।
तो तथाकथित वीर्य फेशियल के बारे में सच्चाई जानने के लिए आगे पढ़ते रहें।
वास्तव में वीर्य की मुँहासों से लड़ने की क्षमता एक शहरी भ्रांति या कल्पित धारणा है।
यह स्पष्ट नहीं है कि यह धारणा आई कहाँ से है, लेकिन यह नियमित रूप से विभिन्न लोगों द्वारा अलग-अलग जगहों पर सुनने को मिल ही जाती है।
वीर्य मुँहासों से लड़ने में किस तरह से मदद कर सकता है, इसके बारे में भी सही-सही किसी को नहीं मालूम।
एक आम धारणा यह है कि वीर्य में मौजूद स्पर्माइन (spermine) नामक यौगिक – जो शुक्राणु और अन्य कोशिकाओं में पाया जाने वाला एक एंटीऑक्सिडेंट और एंटी-इंफ्लेमेटरी एजेंट होता है – मुँहासों का मुकाबला कर सकता है।
लेकिन इसकी पुष्टि करने के लिए कोई वैज्ञानिक सबूत मौजूद नहीं है।
यदि आप एक कारगर मुँहासों के उपचार की तलाश में हैं, तो आप कई अन्य विकल्प चुन सकते हैं जिनमें कुछ घरेलू उपचार भी शामिल हैं।
हल्के मुँहासों के लिए सैलिसिलिक एसिड या बेंज़ॉयल पेरोक्साइड युक्त उत्पादों का उपयोग करने की सलाह दी जाती है।
हालांकि, अत्यधिक मुँहासों को ठीक करने के लिए एक ज्यादा मजबूत उपचार की आवश्यकता होती है। मौखिक गर्भनिरोधक गोलियाँ त्वचा को साफ करने में मदद कर सकती हैं। आइसोट्रेटिनॉइन (isotretinoin) एक और प्रभावी गोली है।
इसके अलावा आप कुछ प्रोफेशनल उपचारों को भी आजमाकर देखा जा सकता, जैसे:
इस गलत धारणा के लिए भी स्पर्माइन यौगिक दोषी है। कुछ लोगों का मानना है कि इसके एंटीऑक्सीडेंट गुण उम्र बढ़ने के साथ होने वाली महीन रेखाओं (फाइन लाइन्स) को बनने से रोक सकते हैं।
हालाँकि इसको लेकर एक छोटी सी वैज्ञानिक कड़ी मौजूद है। स्पर्माइन स्पर्मिडाइन (spermidine) नामक यौगिक से बनता है।
2009 में नेचर सेल बायोलॉजी में प्रकाशित हुए एक शोध में पाया गया कि स्पर्मिडाइन को सीधे कोशिकाओं (सेल) में इंजेक्ट करने से उनकी उम्र बढ़ने की प्रक्रिया धीमी हो सकती है।
लेकिन इसे सीधे स्किन पर लगाने के प्रभावों के बारे में बहुत कम जानकारी है।
जब एंटी-एजिंग की बात आती है, तो विटामिन सी और रेटिनोइड्स की उच्च सांद्रता वाले सीरम या क्रीम आपकी पहली पसंद होनी चाहिए।
आप ग्लिसरीन या हाइलूरोनिक एसिड (hyaluronic acid) जैसे अवयवों से युक्त मॉइस्चराइज़र को भी अपनाकर देख सकते हैं।
और अपनी स्किन को धूप से बचाना न भूलें। सिर्फ यही एक अकेला कारक समय से पहले स्किन को बूढ़ा करने में एक बड़ा योगदान दे सकता है। इसलिए धूप में निकलने से पहले स्किन को ढक लें या उसपर सनस्क्रीन क्रीम लगाएं।
हाँ यह सच है, वीर्य में 200 से अधिक अलग-अलग प्रोटीन पाए जा सकते हैं।
हालाँकि, इसकी मात्रा – जो औसतन 5,040 मिलीग्राम प्रति 100 मिलीलीटर होती है – ध्यान देने योग्य फायदा देने के लिए पर्याप्त नहीं है।
यदि आप इस आंकड़े को आहार की दृष्टि से देखें, तो यह लगभग 5 ग्राम के बराबर होता है। जबकि एक औसत महिला को प्रतिदिन कम से कम 46 ग्राम प्रोटीन की आवश्यकता होती है, और औसत पुरुष को 56 ग्राम प्रोटीन की आवश्यकता होती है।
इसलिए वीर्य को न तो पीने से कुछ स्पष्ट लाभ होगा, और न ही इसे स्किन पर लगाने से।
इसके वजाय बाजार में जो स्किन केयर प्रोडक्ट्स उपलब्ध होते हैं, उनमें प्रोटीन आमतौर पर पेप्टाइड्स के रूप में आता है। पेप्टाइड्स एक प्रकार के एमिनो एसिड्स होते हैं जो स्किन को दृढ़ और झुर्रियों से मुक्त रखने में मदद करते हैं, लेकिन यह तब तक अप्रभावी हो सकते हैं जब तक कि इन्हें स्किन में पहले से मौजूद अन्य घटक या पोषक तत्व न मिलें।
यह अन्य पोषक तत्व आपको सिर्फ पौष्टिक आहार से प्राप्त हो सकते हैं। इसके अलावा पौष्टिक आहार ही प्रोटीन का सबसे मजबूत स्रोत होता है। इसलिए जबतक आप एक संतुलित और स्वस्थ भोजन का सेवन नहीं करेंगे, तब तक आप अपनी स्किन पर कुछ भी लगा लें, उससे कोई फायदा नहीं होगा।
अमेरिकन जर्नल ऑफ एपिडेमियोलॉजी में प्रकाशित एक शोध में पाया गया कि पौधे आधारित प्रोटीन, फल, सब्जियां और साबुत अनाज से भरपूर आहार स्किन कोशिकाओं के स्वस्थ विकास और एजिंग से बचाने में कारगर हो सकते हैं।
वीर्य में आपके लिए रोज की जरूरत का लगभग 3 प्रतिशत जिंक होता है। लेकिन यह आंकड़ा एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में भिन्न-भिन्न हो सकता है।
यह सलाह दी जाती है कि महिलाओं को हर दिन 8 मिलीग्राम, जबकि पुरुषों को 11 मिलीग्राम जिंक का सेवन करना चाहिए।
स्किन के लिए जिंक के कई लाभ होते हैं। मुँहासों पर इसके एंटी-इंफ्लेमेटरी प्रभावों का व्यापक रूप से अध्ययन किया गया है। साथ ही इसमें कोशिका मरम्मत और कोलेजन उत्पादन की क्षमता भी होती है।
इसी कारण से कुछ लोग मानते हैं कि यह स्किन में एंटी-एजिंग प्रभाव भी डाल सकता है। लेकिन जिंक को सीधे स्किन पर लगाने से ज्यादा कोई फायदा नहीं होता, बल्कि इसे मौखिक रूप से सेवन किया जाना आवश्यक है।
आप अपनी जिंक की जरूरत को पूरा करने के लिए इसके सप्लीमेंट ले सकते हैं, लेकिन इसे अपने आहार में नट्स, डेयरी उत्पाद और साबुत अनाज के माध्यम से शामिल करना अधिक सार्थक होता है।
सबसे पहले यह जान लें कि यूरिया होता क्या है? यह एक अपशिष्ट उत्पाद है जो तब बनता है जब लीवर प्रोटीन को तोड़ता है।
यह आमतौर पर मूत्र या पसीने के माध्यम से शरीर से बाहर निकल जाता है, लेकिन स्किन की बाहरी परत पर थोड़ी मात्रा में पाया जा सकता है।
यह स्किन को हाइड्रेट करने, डेड सेल्स हटाने, और अन्य स्किन प्रोडक्ट्स के अवशोषण में मदद करता है। लेकिन यूरिया के स्किन पर कई दुष्प्रभाव भी हो सकते हैं, इसलिए ज्यादातर ब्यूटी प्रोडक्ट्स में सिंथेटिक यूरिया होता है।
अमेरिका के जर्नल ऑफ एंड्रोलॉजी में प्रकाशित एक शोध के अनुसार, प्रति 100 मिलीलीटर वीर्य में 45 मिलीग्राम यूरिया होता है।
अन्य सभी पदार्थों की तरह ही, वीर्य में इतना यूरिया नहीं पाया जाता कि आपकी स्किन पर दिखाई देने योग्य प्रभाव डाल सके।
जी हाँ, किसी भी स्किन विशेषज्ञ या डॉक्टर द्वारा स्किन या चेहरे पर वीर्य को लगाने की सलाह नहीं दी जाती है।
तो अगली बार जब कोई आपको वीर्य के स्किन पर लगाने के फायदों के बारे में बताए, तो सबसे पहले उससे इसका वैज्ञानिक आधार पूछें।
छोटे शब्दों में कहें तो वीर्य कुछ मामलों में आपकी स्किन के लिए अत्यधिक नुकसानदायक हो सकता है। मानव वीर्य को सीधे अपनी स्किन पर लगाने से गंभीर एलर्जी प्रतिक्रिया से लेकर यौन संचारित संक्रमण तक कुछ भी हो सकता है।
हालाँकि ऐसा होना दुर्लभ है, लेकिन वीर्य में मौजूद किसी प्रोटीन से आपकी स्किन को एलर्जी होना संभव है। इसे मेडिकल भाषा में सेमिनल प्लाज्मा प्रोटीन हाइपरसेंसिटिविटी कहा जाता है। कुछ मामलों में एलर्जी के कारण आपकी स्किन अत्यधिक संवेदनशील हो सकती है, और इसे छूने या प्रकाश के सम्पर्क में लाने पर स्किन को नुकसान पहुँच सकता है।
वीर्य से स्किन को हल्की एलर्जी भी हो सकती है। उदाहरण के लिए स्किन में सूजन, लालिमा, सूखापन या खुजली महसूस होना।
यौन संचारित संक्रमण आमतौर पर जननांगों में होते हैं। लेकिन वीर्य को स्किन पर लगाने से यह आँखों, मुंह और नाक में भी फैल सकते हैं। इन अंगों के जरिये यह संक्रमण बिना सेक्स के एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में भी फैल सकते हैं।
कुछ संक्रमणों जैसे दाद, क्लैमाइडिया और गोनोरिया के इस तरह से फैलने की सम्भावना ज्यादा होती है।
विशेष रूप से आँखों का इनकी चपेट में आना ज्यादा आम है। इसके परिणाम स्वरूप आँखों में हल्की सूजन से लेकर अंधापन तक हो सकता है।
2011 के एक शोध के अनुसार स्पर्मिडाइन यौगिक बालों के विकास को प्रोत्साहित कर सकता है। यह भी माना जाता है कि वीर्य में मौजूद प्रोटीन बालों को कंडीशन कर सकता है।
लेकिन स्किन के मामले की तरह ही बालों को बढ़ाने व कंडीशन करने के लिए लिए बाजार में कई कारगर उत्पाद मौजूद हैं, इसलिए इनपर वीर्य लगाने की रिस्क न लेना ही बेहतर होगा।
वीर्य को शामिल किये बिना ही स्किन संबंधी समस्याओं का इलाज करने के कई तरीके मौजूद हैं।
यदि आपको शंका हो तो विज्ञान को देखें। जब वीर्य की बात आती है, तो प्रभावी स्किन देखभाल के किसी भी दावे का समर्थन करने के लिए कोई वैज्ञानिक सबूत मौजूद नहीं है।